उत्तर प्रदेश सरकार के मा. मत्स्य मंत्री एवं निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. संजय कुमार निषाद ने आज अलीगढ़ में आयोजित मंडलीय मत्स्य पालक गोष्ठी में भाग लेते हुए मछुआ समाज को केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार मत्स्य पालन को ग्रामीण विकास और आत्मनिर्भर भारत का प्रमुख साधन मानते हुए इस क्षेत्र में सतत सुधार और विस्तार की दिशा में कार्य कर रही है।
🐟 मछुआ समाज को मिले आर्थिक ताकत
मा. मंत्री ने कहा कि मछुआ समाज को अब केवल जलाशयों तक सीमित नहीं रहना है, बल्कि उन्हें शैक्षिक, सामाजिक और आर्थिक रूप से सशक्त बनाना ही सरकार का उद्देश्य है। मत्स्य पालन केवल जीविका नहीं बल्कि ग्राम अर्थव्यवस्था का मजबूत आधार है, जिसे आगे बढ़ाने के लिए सरकार योजनाबद्ध ढंग से कार्य कर रही है।
🗣️ मछुआरों को दी गई योजनाओं की जानकारी
डॉ. संजय कुमार निषाद ने गोष्ठी में उपस्थित हजारों मछुआ भाइयों और मत्स्य पालकों को सरकार की प्रमुख योजनाओं की जानकारी दी, जिनमें शामिल हैं:
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प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना
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मत्स्य बीज वितरण
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तालाबों का गहरीकरण एवं निर्माण
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नाव व इंजन क्रय पर सब्सिडी
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मछुआ आवास योजना
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मत्स्य बीमा योजना
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बाजार सुविधा और विपणन योजना
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया कि ये योजनाएं पात्र व्यक्तियों तक त्वरित और पारदर्शी तरीके से पहुंचे।
📢 “गिनती से ताकत, ताकत से बराबरी” का मंत्र
मा. मंत्री ने अपने संबोधन में समाज को संगठित होने का संदेश देते हुए कहा:
“गिनती से ताकत मिलेगी, ताकत से बराबरी मिलेगी।”
“हमें अपनी संख्या दर्ज करानी होगी ताकि हमारा राजनीतिक, सामाजिक और शैक्षणिक हिस्सा तय हो सके।”
📊 जातीय जनगणना अधिसूचना: ऐतिहासिक निर्णय
उन्होंने भारत सरकार द्वारा हाल ही में जारी जातीय जनगणना अधिसूचना का स्वागत करते हुए इसे एक ऐतिहासिक और साहसिक कदम बताया। उन्होंने कहा:
“जातीय जनगणना केवल आंकड़ों की बात नहीं है, यह सामाजिक न्याय और हक की पुनः स्थापना का माध्यम है। इससे निषाद, केवट, बिंद, मल्लाह जैसे समाजों की सटीक जनसंख्या सामने आएगी और उनकी भागीदारी की असली तस्वीर देश के सामने आएगी।”
डॉ. निषाद ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी को इस ऐतिहासिक निर्णय के लिए धन्यवाद देते हुए कहा कि यह उनके वंचित समाजों के प्रति संवेदनशीलता और प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
✅ समस्याएं सुनी गईं, समाधान का दिया आश्वासन
गोष्ठी में मत्स्य पालकों ने अपनी समस्याएं एवं सुझाव प्रस्तुत किए, जिन्हें मंत्री जी ने गंभीरता से सुना और तत्काल संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया। उन्होंने भरोसा दिलाया कि हर समस्या का समाधान समयबद्ध तरीके से सुनिश्चित किया जाएगा।
👥 विभिन्न जिलों से उमड़ी भीड़
इस मंडलीय गोष्ठी में अलीगढ़ मंडल के कासगंज, एटा, हाथरस, अलीगढ़ सहित अन्य जनपदों से मत्स्य पालक, विभागीय अधिकारी, जनप्रतिनिधि, निषाद पार्टी के पदाधिकारी व कार्यकर्ता बड़ी संख्या में उपस्थित रहे। कार्यक्रम ने समाज में एक नई ऊर्जा, संगठन और भरोसे का संचार किया।
📌 निष्कर्ष
अलीगढ़ की यह मंडलीय गोष्ठी यह दर्शाती है कि सरकार और निषाद पार्टी का साझा लक्ष्य मछुआ समाज को आर्थिक, सामाजिक और राजनीतिक रूप से सशक्त करना है। योजनाओं के माध्यम से जहां आजीविका को स्थिरता दी जा रही है, वहीं जातीय जनगणना जैसे निर्णयों के माध्यम से समाज के सर्वांगीण विकास की नींव रखी जा रही है।
“अब वक्त आ गया है कि मछुआ समाज अपनी संख्या दर्ज कराकर अपना हक मांगे और विकास की मुख्यधारा में आगे बढ़े।”