Site icon Koto News

Ministry of Information and Broadcasting : सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने वेवएक्स के तहत ‘कला सेतु और भाषा सेतु चुनौतियाँ शुरू कीं

Ministry of Information and Broadcasting

दिनांक : 18.07.2025 | Koto News | KotoTrust |

देश की भाषाई विविधता को डिजिटल माध्यमों से समावेशी बनाने की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए, सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय अब एआई/एमएल (कृत्रिम बुद्धिमत्ता और मशीन लर्निंग) आधारित नवाचारों को प्राथमिकता दे रहा है। इसी क्रम में मंत्रालय के सचिव श्री संजय जाजू ने हैदराबाद के प्रतिष्ठित नवाचार केंद्र टी-हब में स्टार्टअप्स, इनक्यूबेटर्स और इंजीनियरिंग संस्थानों के प्रतिनिधियों से संवाद किया। बैठक का मुख्य उद्देश्य भाषाई और सांस्कृतिक विविधता को तकनीकी समाधानों के माध्यम से जोड़ना और अंतिम छोर तक जानकारी पहुँचाने के लिए सशक्त डिजिटल पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करना था।

इस संवाद कार्यक्रम में आईआईटी हैदराबाद, एनआईटी के उत्कृष्टता केंद्रों, और देशभर के तकनीकी संस्थानों के नवाचार प्रकोष्ठों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

श्री संजय जाजू ने इस अवसर पर कहा कि “माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी द्वारा रेखांकित रचनात्मक अर्थव्यवस्था को बल देने के लिए मीडिया, भाषा और मनोरंजन क्षेत्र में स्टार्टअप्स की भूमिका निर्णायक बन चुकी है।” उन्होंने बताया कि सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने ‘वेवएक्स स्टार्टअप एक्सेलेरेटर प्लेटफ़ॉर्म’ की शुरुआत इसी सोच के तहत की है, जिससे देश में मीडिया और भाषा प्रौद्योगिकी आधारित नवाचारों को एक छत के नीचे समर्थन मिल सके।

उन्होंने यह भी घोषित किया कि वेवएक्स ने दो नई चुनौती प्रतियोगिताओं — ‘कला सेतु‘ और ‘भाषा सेतु‘ — की शुरुआत की है, जो बहुभाषी और कलात्मक डिजिटल समाधान तैयार करने के उद्देश्य से आयोजित की जा रही हैं।

कला सेतु चुनौती का उद्देश्य डिजिटल मीडिया में भारतीय कला, संस्कृति और पारंपरिक अभिव्यक्तियों के एआई आधारित प्रसार को बढ़ावा देना है। वहीं ‘भाषा सेतु’ उन तकनीकी समाधानों पर केंद्रित है जो देश की विविध भाषाओं में समावेशी संचार और अंतिम व्यक्ति तक सूचना की पहुँच सुनिश्चित करें।

स्टार्टअप्स वेवएक्स पोर्टल के माध्यम से इन दोनों चुनौतियों के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। पोर्टल पर चुनौती की विस्तृत तकनीकी आवश्यकताएँ, चयन प्रक्रिया, समय-सीमा और लाभ भी स्पष्ट रूप से उपलब्ध कराए गए हैं।

चयन प्रक्रिया के तहत, प्रारंभिक दौर में तकनीकी विशेषज्ञों द्वारा सॉर्ट लिस्टिंग की जाएगी। अंतिम रूप से चयनित टीमें नई दिल्ली में राष्ट्रीय निर्णायक मंडल के समक्ष अपने समाधान प्रस्तुत करेंगी। चयनित और विजेता स्टार्टअप्स को दूरदर्शन, आकाशवाणी और पीआईबी जैसे प्रतिष्ठित सरकारी संचार माध्यमों के साथ पायलट परियोजनाओं में कार्य करने का अवसर मिलेगा।

इसके अतिरिक्त, विजेताओं को वेवएक्स के तहत इनक्यूबेशन, वित्तीय सहायता, मार्गदर्शन (मेंटॉरशिप) और उद्योग प्रतिनिधियों से प्रत्यक्ष संपर्क का लाभ भी प्राप्त होगा।

मई 2025 में मुंबई में आयोजित वेव्स शिखर सम्मेलन में, वेवएक्स ने 30 से अधिक नवाचारी स्टार्टअप्स को निवेशकों, सरकारी अधिकारियों और मीडिया कंपनियों के समक्ष अपने विचार प्रस्तुत करने का मंच प्रदान किया था। इस शिखर सम्मेलन ने सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के बीच सहयोग की नई संभावनाएँ खोल दी थीं।

वेवएक्स वर्तमान में लक्षित हैकथॉन, थीम आधारित चुनौती, और राष्ट्रीय नवाचार नेटवर्क के साथ एकीकरण के ज़रिए स्टार्टअप्स को सशक्त बना रहा है। इसके माध्यम से भारत के दूरदराज़ क्षेत्रों में भी नवाचार की लौ जल रही है — जहाँ से नए विचार, भाषा समाधान और कंटेंट जनरेशन प्लेटफॉर्म सामने आ रहे हैं।

विशेष रूप से यह मंच एआई समर्थित वीडियो जेनरेशन, भाषा रूपांतरण (Translation), वॉयस क्लोनिंग, और स्क्रिप्ट टू स्क्रीन तकनीक में काम कर रहे स्टार्टअप्स के लिए आदर्श अवसर प्रदान कर रहा है।

श्री जाजू ने बैठक के अंत में कहा कि “हमें ऐसे समाधान चाहिए जो भारत के हर नागरिक को — चाहे वह किसी भी भाषा, क्षेत्र या संस्कृति से आता हो — सरकारी जानकारी, मीडिया और रचनात्मक सामग्री तक समान पहुँच प्रदान कर सके।” उन्होंने सभी स्टार्टअप्स से ‘सोचने से आगे बढ़कर समाधान पर काम करने’ का आह्वान किया और मंत्रालय की ओर से हर प्रकार की सहायता का आश्वासन भी दिया।

प्लेटफ़ॉर्म
‘कला सेतु’ और ‘भाषा सेतु’ चुनौतियाँ सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के नवाचार अभियान ‘वेव्स’ के अंतर्गत विकसित वेवएक्स स्टार्टअप एक्सेलेरेटर प्लेटफॉर्म के माध्यम से संचालित की जा रही हैं। यह डिजिटल मंच स्टार्टअप्स, इनक्यूबेटर्स और नवाचारियों को मीडिया, भाषा और संचार के क्षेत्र में तकनीकी समाधान प्रस्तुत करने के लिए समर्पित है। इच्छुक प्रतिभागी पंजीकरण और आवेदन हेतु सीधे पोर्टल पर जा सकते हैं:

पहल
यह चुनौती भारत सरकार के सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की ‘वेव्स (WAVES)’ पहल के तहत आयोजित की जा रही है। ‘वेव्स’ का उद्देश्य देश में रचनात्मक और तकनीकी नवाचारों को एक मंच पर लाना है जो मीडिया, मनोरंजन, भाषा और डिजिटल संचार को सशक्त बना सकें। यह पहल विशेष रूप से एवीजीसी-एक्सआर (AVGC-XR) और भाषाई समावेशिता को बढ़ावा देने पर केंद्रित है।

प्रमुख उद्देश्य
इन दोनों चुनौतियों का केंद्रीय उद्देश्य भारत के विविध भाषाई और सांस्कृतिक परिदृश्य को ध्यान में रखते हुए एक ऐसा समावेशी डिजिटल संचार तंत्र विकसित करना है, जो अंतिम छोर तक प्रभावी और स्थानीय भाषा में सूचना पहुँचा सके।

‘कला सेतु’ के माध्यम से पारंपरिक कलाओं, सांस्कृतिक रूपांतरणों और अभिव्यक्तियों को डिजिटल मंच पर सशक्त बनाने की प्रेरणा है।

‘भाषा सेतु’ का लक्ष्य है भाषा अवरोधों को पाटने वाले तकनीकी समाधान तैयार करना।

प्रमुख चुनौतियाँ

कला सेतु: भारतीय पारंपरिक कला, चित्रकला, नृत्य, लोक-संगीत, शिल्प और सांस्कृतिक तत्वों को डिजिटल रूप में संरक्षित और प्रचारित करने वाले एआई-आधारित समाधान।

भाषा सेतु: भारतीय भाषाओं के बीच अनुवाद, टेक्स्ट टू स्पीच, स्पीच टू टेक्स्ट, वॉयस क्लोनिंग, ऑटो सबटाइटलिंग, और संवाद जनरेशन जैसे समाधान जो भारत के प्रत्येक नागरिक तक सूचना सहजता से पहुँचा सकें।

आवेदन की अंतिम तिथि
15 अगस्त 2025 (संभावित तिथि) निर्धारित की गई है। इसके पहले आवेदकों को पोर्टल पर पंजीकरण करना होगा और अपनी अवधारणा/समाधान का प्रस्ताव प्रस्तुत करना होगा। अंतिम तिथि के बाद कोई प्रविष्टि स्वीकार नहीं की जाएगी।

प्रस्तुति स्थान
प्रारंभिक मूल्यांकन के बाद चुनी गई टीमें अपने नवाचारों को नई दिल्ली में स्थित राष्ट्रीय निर्णायक मंडल के समक्ष प्रस्तुत करेंगी। यह निर्णायक मंडल मंत्रालय, तकनीकी विशेषज्ञों, मीडिया संस्थानों और इनोवेशन इकोसिस्टम के अनुभवी प्रतिनिधियों से युक्त होगा।

विजेताओं को लाभ

सरकारी मीडिया नेटवर्क से सहयोग: आकाशवाणी, दूरदर्शन और पीआईबी जैसे संस्थानों के साथ पायलट प्रोजेक्ट चलाने का अवसर मिलेगा।

प्रदर्शन मंच: विजेता स्टार्टअप्स को राष्ट्रीय प्रदर्शन मंच और सरकारी आयोजनों में प्रस्तुति के अवसर प्रदान किए जाएंगे।

इनक्यूबेशन और मेंटरशिप: वेवएक्स प्लेटफॉर्म के माध्यम से विजेता टीमों को प्रौद्योगिकी, व्यवसाय मॉडलिंग और नीति-निर्माण क्षेत्र में मार्गदर्शन मिलेगा।

वित्तीय और तकनीकी सहयोग: समाधान के स्केलेबल निर्माण के लिए तकनीकी संसाधन और आवश्यक निवेश आकर्षित करने की सुविधा भी दी जाएगी।

तकनीकी फोकस क्षेत्र
इन चुनौतियों के लिए भागीदारी करने वाले स्टार्टअप्स को निम्नलिखित तकनीकी क्षेत्रों पर विशेष ध्यान देना होगा:

AI/ML आधारित मल्टी-लैंग्वेज ट्रांसलेशन टूल्स

वॉयस-सिंथेसिस और स्पीच रिकग्निशन

वीडियो कंटेंट ऑटोमेशन (Script-to-Screen)

डिजिटल नरेशन, वॉइस क्लोनिंग और सबटाइटलिंग इंजन

संवेदनशील भाषाओं का संरक्षण और जनरेटिव एल्गोरिद्म

कंटेंट मॉडरेशन और भाषाई त्रुटि सुधार प्रणाली

भागीदार संस्थान
यह चुनौती राष्ट्रीय नवाचार नेटवर्क और प्रतिष्ठित तकनीकी संस्थानों की भागीदारी से संचालित हो रही है।
प्रमुख संस्थान और इकाइयाँ निम्नलिखित हैं:

टी-हब, हैदराबाद – स्टार्टअप इनक्यूबेशन और मार्गदर्शन

आईआईटी हैदराबाद – एआई-आधारित भाषा समाधान में अग्रणी सहयोग

एनआईटी नेटवर्क और उत्कृष्टता केंद्र – तकनीकी परीक्षण और मूल्यांकन

इंजीनियरिंग कॉलेजों के नवाचार प्रकोष्ठ – नवोदित विचारों की प्रस्तुति

मीडिया एवं संचार से जुड़े स्टार्टअप्स – मीडिया प्रौद्योगिकी में नवाचार

Source : PIB

Exit mobile version